रंगो का त्योहार होली आठ साल बाद 01 मार्च को बुधादित्य, लक्ष्मीेनारायण योग में होगा होली का दहन यह संयोग पहले 28 फरवरी 2010 को बना अब 1 मार्च 2018 को बनेगा,भद्रा समाप्ति के बाद करे होली का दहन,सबसे पहले जानते है क्यों मनाते है होली,आपसी वैमन्यस्ता को खत्म करने, प्रेम को बढाने , आपसी दूरिया कम करने और असत्य पर सत्य की जीत के लिए मनाए जाने वाला होली का त्योहार मान्यता यह भी है कि इस दिन स्वयं को ही भगवान मान बैठे हरिण्यकशिपु ने भगवान की भक्ति में लीन अपने ही पुत्र प्रह्लाद को अपनी बहन होलिका के जरिये जिंदा जला देना चाहा था लेकिन भक्त प्रहलाद पर भगवान ने अपनी कृपा की और प्रह्लाद के लिये बनाई चिता में स्वयं होलिका जल गई ।इसी लिए कहां गया कि जिसने बुरा करना चाहा उसी का बुरा हो गया और जीत सत्यय की हुई इसलिये भी होलिका दहन की परंपरा है। घर में सुख-शांति, समृद्धि, किया जाता है। दिन संतान प्राप्ति आदि के लिये महिलाएं होली दिन होली की पूजा करती है बाद में शुभ मुहूर्त में होलिका का दहन किया जाता है होलिका दहन के अगले दिन अपने मित्रों परिवार के सद...